‘मैं नफरत नहीं सिर्फ न्याय मांग रही हूं…’, FIR के बाद यश दयाल पर गिरफ्तारी की तलवार

गाजियाबाद। ‘मैं नफरत नहीं सिर्फ न्याय मांग रही हूं। कृपया मेरी आवाज सुनी जाए। जब सिस्टम सच के साथ खड़ा होता है, तब चुप रहने वाली लड़की को भी ताकत मिलती है। मुझे सच और आत्म सम्मान के बलए लड़ना जरूरी हो गया है।

यह बात रॉयल चैलेंजर्स बंगलूरू (RCB) के क्रिकेटर यश दयाल पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वाली पीड़िता ने अपनी ओर से दर्ज करवाए मुकदमे में कही है। उन्होंने पुलिस कार्रवाई और आगे की प्रक्रिया पर भरोसा जताते हुए न्याय की उम्मीद जताई है।

मुख्यमंत्री पोर्टल पर शिकायत कर लगाया था का आरोप

वहीं, क्रिकेटर यश दयाल पर गिरफ्तारी की तलवार लटक गई है। पुलिस ने पीड़िता के मजिस्ट्रेट बयान दर्ज कराने की तैयारी शुरू कर दी है।

21 जून को इंदिरापुरम क्षेत्र की रहने वाली एक युवती ने मुख्यमंत्री पोर्टल पर शिकायत करते हुए क्रिकेटर यश दयाल पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था।

शादी का झांसा देकर किया शारीरिक व मानसिक उत्पीड़न

आरोप था कि क्रिकेटर ने पांच वर्ष तक शादी का झांसा देकर उसका शारीरिक व मानसिक उत्पीड़न किया।

मामले में मुख्यमंत्री पोर्टल पर हुई शिकायत के बाद भी जब कोई कार्रवाई नहीं हुई तब पीड़िता ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स का सहारा लिया था।

पुलिस के नोटिस भेजने के बाद भी जब क्रिकेटर ने अपने बयान दर्ज नहीं करवाए तब पुलिस ने सात जुलाई की देर रात बीएनएस की धारा 69 के तहत क्रिकेटर के खिलाफ नामजद मुकदमा दर्ज किया था।

यश ने ढाई साल में कई लड़कियों से संबंध बनाए

पीड़िता ने पुलिस को यह भी बताया है कि वह यश दयाल को नवंबर-दिसंबर वर्ष 2020 से जानती हैं। सोशल मीडिया पर पहले कनेक्ट हुई थीं। प्रयागराज में ही उनकी पहली मुलाकात हुई थी। उनकी दोस्ती पिछले करीब पांच साल से है।

यश और उनका परिवार बांधता रहा उम्मीद

पीड़िता ने बताया कि वह क्रिकेटर के घर पर कई बार रह चुकी हैं। शादी का आश्वासन देकर यश दयाल और उनका परिवार उम्मीद बांधता रहा। मैं भी उनके परिवार के साथ में फाइनल मैच के दौरान मौजूद थीं।

सबकुछ सही ढंग से आगे बढ़ रहा था, लेकिन पिछले ढाई साल में यश दयाल ने कई लड़कियों से संबंध बनाए।इसके बाद उनके परिवार और दोस्तों ने उनको लेकर कई तरह की बात कहीं है।

पीड़िता ने अपने बयान में पुलिस को बताया कि जब उनके जीवन में यह समस्या सामने आई तब उन्होंने सब कुछ ईश्वर के हवाले छोड़ दिया।

मैंने भगवान भरोसे छोड़ा अपना न्याय

पीड़िता ने अपने बयान में पुलिस को बताया कि जब उनके जीवन में यह समस्या सामने आई तब उन्होंने सब कुछ ईश्वर के हवाले छोड़ दिया।

यहां तक कि उन्होंने अपने सोशल मीडिया अकाउंट एक्स पर भी यह लिखकर डाला कि उन्हें कार्रवाई में हो रही देरी पर पूरा भरोसा है कि जितना भी समय लग रहा है उन्हें न्याय मिलेगा।

साथ ही उन्हें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उत्तर प्रदेश पुलिस के डीजीपी व महिला आयोग पर भी भरोसा जताया था।

अपराध साबित होने पर यह है सजा

भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 69 शादी या नौकरी के झूठे वादे के आधार पर यौन संबंध बनाने को अपराध मानती है। इस अपराध के कोर्ट में साबित होने पर आरोपी को 10 वर्ष तक की कैद और जुर्माना हो सकता है।

यह धारा महिलाओं को शोषण से बचाने के लिए बनाई गई है, खासकर उन मामलों में जहां यौन संबंध शादी के झूठे वादे के माध्यम से प्राप्त किए जाते हैं।

गैर जमानती व गैर समझौता है अपराध

BNS की धारा 69 के दर्ज अपराध एक गैर जमानती और गैर समझौता अपराध माना जाता है। इसका मतलब है कि अगर मामले में क्रिकेटर की गिरफ्तारी होती है तब उन्हें जमानत आसानी से नहीं मिल पाएगी।

साथ ही समझौता भी नहीं किया सकेगा, हालांकि गिरफ्तारी की कार्रवाई करने के लिए पुलिस को पहले नियम के तहत पीड़िता के धारा 164 के तहत मजिस्ट्रेट के सामने बयान दर्ज करवाने होंगे।

पीड़िता अगर अपने बयान में भी स्पष्ट और यही आरोप लगाती है, तब उसके बाद पुलिस गिरफ्तारी की कार्रवाई करेगी।

Back to top button