
वॉशिंगटन। अमेरिका के मिनियापोलिस शहर में बुधवार सुबह हुए एक स्कूल पर हुए हमले को लेकर सनसनीखेज खुलासा हुआ है। कैथोलिक स्कूल पर उस वक्त हमला किया गया, जब बच्चे प्रार्थना कर रहे थे, इस दौरान 23 साल के हमलावर रॉबिन वेस्टमैन ने अंधाधुंध गोलियां बरसानी शुरू कर दी।
वहीं अब शूटर के हथियार पर ‘भारत पर परमाणु बम गिराओ’, ‘माशाअल्लाह’ और ‘इजरायल को खत्म कर दो’ जैसे शब्द लिखे मिले हैं। इस हमले में दो बच्चों की मौत हो गई है और 17 लोग गंभीर घायल हैं।
भयानक गोलीबारी के बाद शूटर वेस्टमैन की लाश स्कूल के बाहर पार्किंग में मिली है। अधिकारियों का मानना है कि उसने खुद को गोली मार ली। अधिकारियों ने बताया है कि वेस्टमैन ने कानूनी रूप से हथियार खरीदे थे और उसका कोई आपराधिक रिकॉर्ड सामने नहीं आया है।
सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक वीडियो में शूटर वेस्टमैन हथियारों का जखीरा दिखाते हुए नजर आ रहा है। वीडियो में उसने तीन हथियारों, जिसमें एक राइफल, एक शॉटगन और एक पिस्टल है, उसे दिखाया है।
वीडियो में शूटर कहता दिख रहा है कि “यह छोटा हथियार मेरे लिए है, अगर जरूरत पड़ी।” इसके अलावा हथियारों पर पिछले स्कूल शूटरों के नाम भी लिखे गए थे। उसके हथियार पर लिखा था ‘माशाअल्लाह’, ‘भारत पर परमाणु बम गिराओ’ जो बताता है कि भारत और इजरायल को लेकर उसमें किस हद तक नफरत भरा था।
मिनियापोलिस शूटर की नफरती मानसिकता
आपको बता दें कि शूटर रॉबिन वेस्टमैन एक ट्रांसजेंडर है और डोनाल्ड ट्रंप ने हालिया फैसलों में ट्रांसजेंडर के अधिकार खत्म कर दिए हैं। उसके हथियारों और मैगजीन पर लिखे गए नफरती शब्दों ने इस घटना को काफी भयावह बना दिया है।
इसमें वो डोनाल्ड ट्रंप को मारने, भारत पर परमाणु बम गिराने और इजरायल को खत्म करने की बात कर रहा है। अमेरिकी मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक शूटर के नाम से एक यूट्यूब चैनल भी मिला है और उसी पर हथियारों के साथ उसने वीडियो अपलोड किए थे। इस घटना के बाद वीडियो को हटा दिया गया है।
उसके एक वीडियो में हथियारों के साथ दो जर्नल्स का जिक्र किया गया है, जिनमें से एक जर्नल करीब 60 पन्नों का और दूसरा जर्नल 150 पन्नों का था। ये पूरा सिरिलिक भाषा में लिखा गया था।
इस जर्नले से शूटर की नफरती मानसिकता और हिंसक विचार का साफ पता चलता है। अधिकारियों का मानना है कि हो सकता है वो जिहाद फैलाने वाले लोगों के संपर्क में आया हो।
वीडियो में उसने अपने परिवार को संबोधित करते हुए एक चिट्ठी भी पढ़ी है, जिसमें उसने इस घटना के बाद उन्हें होने वाले दर्द के लिए माफी मांगी है। यूएस होमलैंड सिक्योरिटी ने इस घटना की पुष्टि करते हुए इसे अकल्पनीय स्तर की हिंसा करार दिया है।
आपको बता दें कि इस साल अमेरिका में स्कूलों पर हुआ 146वां हमला है। इसके अलावा हथियारों पर लिखे नफरती शब्द बताते हैं कि ये पागलपन सिर्फ इस शख्स तक जुड़ा नहीं हो सकता है, बल्कि अमेरिकी समाज में वैचारिक जहर पिलाया जा रहा है।