
कनानैस्किस। कनाडा के कनानैस्किस में चल रही G-7 समिट में सभी सात देशों ने ईरान के साथ संघर्ष में इजरायल के लिए अपना समर्थन जाहिर किया है।
G-7 देशों ने अपने बयान में साफ कहा कि वह इजरायल के साथ खड़े हैं।उन्होंने ईरान को पश्चिमी एशिया में अस्थिरता फैलाने का जिम्मेदार ठहराया।
बयान में इलाके में अमन और स्थायी हल की जरूरत पर जोर दिया गया। जी-7 से साफ कर दिया है कि ईरान कभी भी परमाणु हथियार नहीं रख सकता है।
G-7 में चीन को लाने के लिए ट्रंप ने की वकालत
समिट में US राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ग्रुप की अहमियत को लेकर सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि 2014 में रूस को G-7 से निकालना गलत था, जिससे दुनिया अस्थिर हुई।
उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि चीन को G-7 में शामिल करना चाहिए।
क्या है G-7?
G-7 दुनिया के सात ताकतवर देशों कनाडा, फ़्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, यूनाइटेड किंगडम और संयुक्त राज्य अमेरिका का एक समूह है।
यह संगठन, दुनिया की सात सबसे बड़ी उन्नत अर्थव्यवस्थाओं के साथ वैश्विक शुद्ध सम्पत्ति ($280 ट्रिलियन) के 62% से अधिक का प्रतिनिधित्व करते हैं।
इजरायल- ईरान संघर्ष में अब तक क्या हुआ?
इजराइल-ईरान संघर्ष को पांच दिन हो गए। ईरान के स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, इजराइली हमलों में मरने वालों की कुल तादाद करीब 224 हो गई है।
वहीं ईरानी हमले में तेल अवीव, हाइफा और पेटाह टिकवा को भारी नुकसान पहुंचा है। इस संघर्ष में अब तक कम से कम 22 लोगों की जान चली गई है।